Friday, 26 February 2010

विवाह ...

एक विवाह रस्म से होता है, एक विवाह दिल से होता है . रस्म वाला विवाह टूट जाये, मुश्किले आयें, मुसीबते हो पर उन सब को इन्सान आखिर झेल जाता है ...पर दिल के विवाह में कुछः नही बचता !
......अम्रिता प्रीतम

Monday, 22 February 2010

बदलाव

जो लोग भावुक होते हैं और सिर्फ रोते हैं, वो रो-धो कर रह जाते हैं. पर जो लोग हसना सीख लेते हैं, वे कभी कभी हस्ते हस्ते उस जिंदगी को बदल भी डालते हैं.

Saturday, 13 February 2010

मन का झुकाव

कब कहा और कैसे हम अपने मन को हार बैठते है, यह खुद हमे नही पता चलता. मालूम तब होता है जब जिसके कदमो पर हमने अपना सिर रख्खा हो और वह झटके से अपने कदम घसीट ले. उस वक्त हमारी नींद टूटती है और तब हम जा कर देखते है कि अरे हमारा सिर तो किसी के कदमो पर रख्खा हुआ था और उसके सहारे हम आराम से सोते हुये सपना देख रहे थे कि हमारा सिर कहीं झुका ही नही.

Tuesday, 2 February 2010

स्त्री सुलभ व्यक्तित्व

जब स्त्री को जीवन की असाधारण कठीनाईयो का सामना करना पडता हैं तो उसके स्त्री सुलभ व्यक्तित्व और चरित्र पर एक प्रकार की कठोरता अंकित हो जाती हैं और उसका भाग्य कुंठित हो जाता हैं, क्युकी यदि वह भावुक और सुकोमल बनी रही तो उसका अंत हो जायेगा और यदि जीवित रही तो उसके अंतस की सुकोमलता सर्वथा नष्ट हो जायेगी. और बाह्य आकृती में परिवर्तन ना होने पर भी उसका हृदय इतना टूट जायेगा की वह हृदय के भाव को कभी व्यक्त नही कर पायेगी.